भक्तसर्वस्वम्
हे मैथिलीहृदयपङ्कजभृङ्गराज ! हे स्वीयभक्तजनमानसराजहंस ! ।
हे सूर्यवंशविभुवैभव ! रामचन्द्र ! त्वत्पादपङ्कजरजः शरणं ममास्तु ॥ १॥
हे श्री जानकीजीके हृदयकमलके भ्रमर ! हे स्वभक्तजनों के मनोरूपमानसरोवर के राजहंस ! और हे सूर्यवंश के सर्वस्व श्रीरामजी महाराज ! आपके चरणकमल की रज मेरी रक्षा करे ॥ १॥
हे मैथिलीहृदयपङ्कजकञ्जनाथ ! हे भक्तवत्सल ! कृपाकर ! राघवेन्द्र ! ।
हे दीनरक्षक ! शरण्य ! सुखस्वरूप ! त्वत्पादपङ्कजरजः शरणं ममास्तु ! ॥ २॥
हे श्रीजानकीजी के हृदयकमलको विकसित करनेवाले सूर्य ! हे भक्तवत्सल ! हे कृपासिन्धु ! दीनों के रक्षक ! हे सबको शरण देनेवाले और हे सुखस्वरूप भगवान् श्रीरामजी महाराज ! आपके श्रीचरणकमल की रज मेरी रक्षा करे ॥ २॥
हे मैथिलीहृदयभूषण ! कान्तकान्ते ! हे नीलपद्मरुचिराङ्घ्रियुग ! स्वयम्भो ! ।
हे विश्वनाथ ! रघुनाथ ! वरेण्यकीर्ते ! त्वत्पादपङ्कजरजः शरणं ममास्तु ॥ ३॥
हे श्रीजानकीजी के हृदयालङ्कार ! हे सुन्दरकान्तिवाले ! हे नीलकमलसमान सुन्दरचरणवाले ! हे कारणरहित ! हे विश्वनाथ ! और हे प्रशस्तकीर्तियुक्त भगवान् श्रीरामजी महाराज ! आपके श्रीचरणों की रज मेरी रक्षा करे ॥ ३॥
हे मैथिलीहृदयमन्दिरशुभ्रमूर्ते ! हे वायुपुत्रपरिषेवित पद्मपाद ! ।
हे आशुतोष ! जगदीश्वर ! भक्तिलभ्य ! त्वत्पादपङ्कजरजः शरणं ममास्तु ॥ ४॥
हे श्रीजानकीजी के हृदयमन्दिर की सुन्दरमूर्ति ! हे श्रीहनुमान्जी से सेवित ! हे शीघ्र प्रसन्न होनेवाले, हे भक्तिमात्र से प्राप्त करने योग्य ! हे जगदीश्वर श्रीरामजी महाराज ! आपके चरणों की रज मेरी रक्षा करे ॥ ४॥
हे मैथिलीहृदयराजमणे ! रमेश ! हे सर्वज्ञ ! प्रणतपालक ! दीनबन्धो ! ।
सृष्टिस्थितिप्रलयलील ! महानुभाव ! त्वत्पादपङ्कजरजः शरणं ममास्तु ॥ ५॥
हे श्रीजानकीजी के हृदय के चिन्तामणि ! हे सर्वव्यापक ! हे प्रणतपालक ! हे दीनबन्धो ! हे सृष्टि, स्थिति और प्रलयरूप लीला करनेवाले ! महातेजस्वी श्रीरामजी महाराज ! आपके चरणकमलों की रज मेरी रक्षा करे ॥ ५॥
हे मैथिलीहृदयवल्लभ ! रूपराशे ! हे सर्वद ! श्रुतिवचस्स्तुत ! राघवेश ! ।
हे पापपुञ्जदहनानल देवदेव ! त्वत्पादपङ्कजरजः शरणं ममास्तु ॥ ६॥
हे श्रीजानकीजी के परमप्रिय ! हे रूपनिधे ! हे सबकी मन कामना को पूर्ण करनेवाले, वेदवचनों से स्तुत ! हे सम्पूर्ण पापों को भस्म करदेनेवाले, हे देवताओं के भी पूज्य श्रीरामजी महाराज ! आपके चरणों की धूलि मेरी रक्षा करे ॥ ६॥
हे मैथिलीहृदयहार ! मनोजमूर्ते । हे शर्वरीशविमलानन ! सर्वशक्ते ! ।
हे भक्तवश्य ! करुणालय ! नित्यभूते । त्वत्पादपङ्कजरजः शरणं ममास्तु ॥ ७॥
हे श्रीजानकीजी के हृदय के हार ! हे परमसुन्दर मूर्तिवाले ! हे चन्द्रसमान सुन्दर मुखवाले ! हे सर्वशक्तिसम्पन्न ! हे भक्तों के वश में रहनेवाले ! हे परमकारुणिक ! नित्यविभूतियुक्त श्रीरामजी महाराज ! आपके चरणकमलों की धूलि मेरी रक्षा करे ॥ ७॥
हे मैथिलीहृदयवास ! जगन्निवास ! हे भूमिभारहृदयनीश ! जगच्छरण्य ! ।
हे राम ! हे रघुपते ! रघुवीरधीर ! त्वत्पादपङ्कजरजः शरणं ममास्तु ॥ ८॥
हे श्रीजानकीजी के हृदयमें निवास करनेवाले, हे सर्व जगत् के आश्रय ! हे पृथ्वी के भार को हरण करनेवाले ! अनीश जिसका कोई ईश न हो; अर्थात् स्वतन्त्र ! हे सबको शरण देनेवाले ! हे रघुकुलशिरोमणि श्रीरामजी महाराज ! आपके श्रीचरणों की धूरि मेरी रक्षा करे ॥ ८॥
इति श्री परमहंस परिव्राजक जगदगुरु रामानन्दाचार्य स्वामि- श्रीभगवदाचार्य महाराजैः १९७६ तमे विक्रमसम्वत्सरे प्रणीतं भक्तसर्वस्वं समाप्तम् ॥
अथ नामावलिः
ॐ मैथिलीहृदयपङ्कजभृङ्गराजायाय नमः ।
ॐ स्वीयभक्तजनमानसराजहंसायाय नमः ।
ॐ सूर्यवंशविभुवैभवाय नमः ।
ॐ रामचन्द्राय नमः ।
ॐ मैथिलीहृदयपङ्कजकञ्जनाथायाय नमः ।
ॐ भक्तवत्सलाय नमः ।
ॐ कृपाकराय नमः ।
ॐ राघवेन्द्राय नमः ।
ॐ दीनरक्षकाय नमः ।
ॐ शरण्याय नमः ।
ॐ सुखस्वरूपाय नमः ।
ॐ मैथिलीहृदयभूषणाय नमः ।
ॐ कान्तकान्तये नमः ।
ॐ नीलपद्मरुचिराङ्घ्रियुगाय नमः ।
ॐ स्वयम्भुवे नमः ।
ॐ विश्वनाथाय नमः ।
ॐ रघुनाथाय नमः ।
ॐ वरेण्यकीर्ते नमः ।
ॐ मैथिलीहृदयमन्दिरशुभ्रमूर्ते नमः ।
ॐ वायुपुत्रपरिषेविताय नमः ।
ॐ पद्मपादाय नमः ।
ॐ आशुतोषाय नमः ।
ॐ जगदीश्वराय नमः ।
ॐ भक्तिलभ्याय नमः ।
ॐ मैथिलीहृदयराजमणे नमः ।
ॐ रमेशायाय नमः ।
ॐ सर्वज्ञाय नमः ।
ॐ प्रणतपालकाय नमः ।
ॐ दीनबन्धवे नमः ।
ॐ सृष्टिस्थितिप्रलयलीलाय नमः ।
ॐ महानुभावाय नमः ।
ॐ मैथिलीहृदयवल्लभाय नमः ।
ॐ रूपराशये नमः ।
ॐ सर्वदाय नमः ।
ॐ श्रुतिवचस्स्तुताय नमः ।
ॐ राघवेशाय नमः ।
ॐ पापपुञ्जदहनानलाय नमः ।
ॐ देवदेवायाय नमः ।
ॐ मैथिलीहृदयहाराय नमः ।
ॐ मनोजमूर्तये नमः ।
ॐ शर्वरीशविमलाननाय नमः ।
ॐ सर्वशक्ते नमः ।
ॐ भक्तवश्याय नमः ।
ॐ करुणालयाय नमः ।
ॐ नित्यभूतये नमः ।
ॐ मैथिलीहृदयवासाय नमः ।
ॐ जगन्निवासाय नमः ।
ॐ भूमिभारहृदयनीशाय नमः ।
ॐ जगच्छरण्याय नमः ।
ॐ रामायाय नमः ।
ॐ रघुपतये नमः ।
ॐ रघुवीरधीराय नमः ।
Encoded and proofread by Mrityunjay Pandey